
मेरठ में शर्मनाक लापरवाही का मामला सामने आया है। बहसूमा थाने की प्रभारी इंदू कुमारी को बंधक बनाकर लूट की घटना की सूचना के बाद भी मौके पर न पहुंचने पर एसएसपी डॉ. विपिन ताडा ने गुरुवार को लाइन हाजिर कर दिया, इंदू कुमारी ने घटना पर जाने से इनकार करते हुए कहा—”सरकारी जीप नहीं थी, स्कूटी से जंगल नहीं जा सकती थी।”

ये बहसूमा थाना प्रभारी इंदू कुमारी हैं, जिनको SSP ने लाइन हाजिर कर दिया है
रात तीन बजे की वारदात थी, जब पुलिस को मौके पर तत्काल पहुंचना चाहिए था, लेकिन थाना प्रभारी ने सिर्फ जीप की कमी का बहाना बना दिया, जबकि सरकारी जीप से अन्य पुलिसकर्मी घटनास्थल पर पहुंच भी गए थे।
जाने क्या हुआ था उस रात :
बहसूमा थाना क्षेत्र के अस्सा गांव में लकड़ी ठेकेदार किलो सिंह के घर रविवार-सोमवार की रात 2-3 बदमाश घुसे, बारिश के दौरान जब किलो सिंह टॉयलेट के लिए बाहर निकले, उसी वक्त बदमाश घर में घुसकर उनकी पत्नी को चारपाई से बांध कर 90 हजार रुपये और जेवरात लूट ले गए।
जब वो लौटे तो पत्नी बंधी मिली, शोर सुनकर परिवार व ग्रामीण पहुंचे और 112 नंबर पर पुलिस को कॉल किया गया।

किलोवती नाम की महिला का पैर चुनरी से चारपाई पर लुटेरों ने बांध दिया। फिर वारदात को अंजाम दिया।
थाना प्रभारी ने केस को दबाने की भी कोशिश की :
इतनी बड़ी वारदात को थाना प्रभारी इंदू कुमारी ने महज चोरी के केस के रूप में दर्ज किया, जबकि पीड़िता को बंधक बनाकर धमकाया गया था, यानी साफ तौर पर ये लूट का मामला था। बाद में जब फोरेंसिक टीम ने जांच की, तब जाकर हकीकत सामने आई।
एसएसपी ने पूछा – क्यों नहीं गईं घटनास्थल पर? जवाब चौंकाने वाला था :
जब एसएसपी ने इंदू कुमारी से सवाल किया, तो उन्होंने बेहद गैरजिम्मेदाराना जवाब दिया—
“मुझे लूट की सूचना मिली थी, लेकिन स्कूटी से जंगल में नहीं जा सकती थी। मेरे पास निजी कार भी नहीं है। सरकारी जीप पहले ही रवाना हो चुकी थी, इसलिए मैं नहीं जा सकी।”
उनका यह बयान सुनकर SSP ने तुरंत कार्रवाई करते हुए उन्हें लाइन हाजिर कर दिया।
थाना प्रभारी ने खुद मानी लापरवाही :
इंदू कुमारी ने दैनिक भास्कर से बातचीत में कहा—
“मुझे वारदात की सूचना पर जाना चाहिए था। कुछ कारणों से नहीं जा सकी, ये हमारी लापरवाही है।”