
Maharajganj News: बिचाैलिए से खाता खुलवाया, अचानक एक करोड़ रुपये आए तो घबराया :-
महराजगंज ; सदर कोतवाली क्षेत्र के छोटी पकड़ी गांव के रहने सुहेल इन दिनों हैरान हैं, उनके खाते में एक करोड़ आ गए तो इधर उधर भटकने लगे, इनकी बातों को किसी ने नहीं सुना। बैंक से लेकर कोतवाली तक अपनी बात कही, लेकिन किसी ने गंभीरता नहीं दिखाई, बाद में न्यायालय की शरण में जाने के बाद मामले में केस दर्ज हुआ है।
कोतवाली सदर क्षेत्र के छोटी पकड़ी गांव के सुहेल अली ने बताया कि मकान नंबर 72 बनकटवा निकट 10 नंबर बोरिंग, गोरखनाथ थाना गोरखनाथ जिला गोरखपुर के मूल निवासी कमलेश महराजगंज जिले के कोतवाली क्षेत्र के रामनगर चौराहे पर निनकू सेठ के मकान में किराए पर रहते हैं।
कमलेश ने बताया कि बैंकों से ऋण दिलाने का काम करता हूं। उसने बातों में उलझा लिया, रकम की जरूरत थी, ऐसे में उसकी बातों में आकर ऋण लेने का विचार बना लिया, उसने कुछ औपचारिकता पूरी करने के लिए कहा, जरूरी प्रपत्रों को तैयार कर कमलेश को दे दिया।
कमलेश ने एचडीएफसी बैंक महराजगंज में खाता खोलवा दिया, हैरानी की बात है कि इस खाते में ऋण की रकम आने के बजाय, पता नहीं कहा से एक करोड़ रुपये आ गए, आठ जनवरी 2025 को बैंक में इसकी जानकारी देते हुए खाते को बंद करने की बात कही, उस समय किसी ने ध्यान नहीं दिया।
यह रकम किसकी है, कहां से आई है, क्यों इस खाते में भेजा गया, इसके बारे में कोई जानकारी नहीं दी गई, बैंक में जाने पर कोई बात नहीं सुनता था, सदर कोतवाली में भी मामले की जानकारी दी, लेकिन किसी ने गंभीरता से मामले को नहीं लिया।
सुहेल ने बताया कि दिसंबर 2024 में कमलेश से बातचीत हुई, उसने बातचीत के जाल में उलझा दिया, कुछ समझ में नहीं आया, कमलेश क्या काम करता है, इसके बारे में भी सटीक जानकारी नहीं है, किराये पर कमरा लेकर रहता है, खाते में रकम आने के बाद उसे बताया तो उसने भी हंसकर बात टाल दिया था, रकम के बारे में सटीक जानकारी नहीं मिलने से परेशानी हो रही है।
न्यायालय मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट महराजगंज में सुहेल अली ने प्रकीर्ण प्रार्थना पत्र दाखिल किया, इसके बाद न्यायालय ने सोमवार को मामले में केस दर्ज करने का निर्देश दिया, सदर कोतवाली के प्रभारी निरीक्षक सत्येंद्र कुमार राय ने बताया कि आरोपी कमलेश के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है।
छह माह पहले से परेशान है सुहेल :-
छोटी पकड़ी गांव का रहने वाल सुहेल दिसंबर में कर्ज के लिए आवेदन किया था, जनवरी में खाता खुल गया, इसके बाद खाते में रकम आ गई, उसे आठ जनवरी को खाते में रकम आने के बारे में जानकारी हुई, वह भी सहमा हुआ है कि इतनी रकम खाते में कौन भेज दिया, हैरानी की बात है कि कर्ज के लिए खाता खुला, उसमें इतनी मोटी रकम आ गई, बैंक कर्मी भी उसे इधर-उधर घुमाते रहे, उसे किसी ने कुछ बताने की जरूरत नहीं समझी, मामले में बैंक की ओर से भी त्वरित कार्रवाई नहीं की गई।